ख़बर दुनिया देश

भारत में ‘आधार कार्ड’ तो अन्य देशों में क्या है आईडी प्रूफ, जानिए

Aadhar Card

नई दिल्ली : सरकार द्वारा जारी किया गया आधार कार्ड शुरू से विवादों में है, यह विवाद वक्त-वक्त पर इस तर्क के साथ खड़ा होता है कि आधार का डाटा लीक हो सकता है। बता दें कि आधार या उसके जैसे आईडी कार्ड के लिए नागरिकों की जो निजी जानकारियां एकत्रित की जाती हैं उसके लीक होने का खतरा भारत में ही नहीं, बल्कि बाकी देशों में भी बना रहा है। फ्रांस ने अपने लोगों की जानकारियों का एक बड़ा डाटाबेस नष्ट कर दिया था, वहीं यूके में भी सभी बायोमेट्रिक जानकारियों को खत्म किया गया था।

जानिए दुनिया के अन्य देशों में इस वक्त आईडी प्रूफ के लिए क्या इस्तेमाल होता है-

आस्ट्रेलिया : यहां ड्राइविंग लाइसेंस, टैक्स फाइल नंबर, मेडिकेयर नंबर सब पहचान के तौर पर काम करते हैं। ​

रूस : यहां 14 साल से ऊपर के हर शख्स को आंतरिक पासपोर्ट बनवाना होता है। जो 20 और 45 साल की उम्र में रिन्यू होता है।

चीन : यहां 16 साल की उम्र पूरी होने पर रेजिडेंट कार्ड बनवाना होता है, उसे ही आईडी कार्ड की मान्यता है।

जापान : 2013 में यहां माई नंबर लॉ लाया गया था, इसके तहत सभी नागरिकों को एक नंबर दिया जाता है। वह नंबर केंद्र और राज्य सरकार द्वारा दी जाने वाली सुविधाएं लेने के लिए जरूरी है।

युनाइटेड किंगडम (यूके) : ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट, उम्र का प्रमाण पत्र सब आईडी कार्ड की तरह चलते हैं।

अमेरिका : यहां अलग से कोई आईडी कार्ड नहीं है, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट, सोशल सिक्यॉरिटी कार्ड, स्टेट आईडी और मिलिट्री सीएसी कार्ड चलता है।

फ्रांस : नैशनल आईडी कार्ड को यूरोप में ट्रेवल डॉक्युमेंट की तरह इस्तेमाल किया जा सकता है।

जर्मनी : यहां पासपोर्ट या आईडी कार्ड होना जरूरी है, लेकिन उसपर क्या-क्या जानकारी शेयर होनी है यह इच्छा पर निर्भर करता है। जैसे चाहें तो अपनी उंगलियों के निशान ना दें।

ब्राजील : यहां आईडी कार्ड को आरजी कार्ड कहते हैं, लेकिन यह होना उतना जरूरी नहीं है। ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट से काम चल जाता है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *