पटना : ‘ सृजन’ के सहारे भागलपुर को स्मार्ट और डिजीटल बनाना हमारा लक्ष्य! बीते 3 अगस्त को अपने ‘फेसबुक’ वॉल पर लिखा था सृजन महिला सहकारी सहयोग समिति की त्रसचिव प्रिया कुमार ने। प्रिया एक पूर्व और दबंग केन्द्रीय मंत्री की रिश्तेदार है और सृजन की संस्थापक स्व. मनोरमा देवी की पुत्र वधु। मनारमा देवी का स्वर्गवास बीते 14 फरवरी को हो गया था।
अबतक जो आरंभिक जांच हुई है उसमें बैंकों और अन्य सरकारी विभागों की मिली भगत से 750 करोड़ रुपये के घोटाले की बात सामने आई है। अनुमान है कि यह राशि और बढ़ सकती है। सहकारी संस्था सृजन को कइ्र सफेदपोश नेताओं, आइएएस और आइपीएस नेताओं का संरक्षण प्राप्त था। पूर्व केन्द्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय सहित कई दिग्गज राजनेताओं का सृजन के बिहार और झारखंड कार्यालय में लगातार आना जाना होता था। कुछ वर्ष पूर्व झारखंड में आयोजित इस संस्था के कार्यक्रम में तब केन्द्रीय मंत्री रहे सुबोधकांत सहाय, तत्कालीन प्रदेश महिला कांग्रेस की अध्यक्ष आभा सिन्हा सहित कई दिग्गजों ने इस कार्यक्रम में भाग लिया था। सबसे चौकाने वाली बात तो यह है बीते कई वर्षों से करोड़ो रुपये का घोटाला कर चुकी इस सहकारी संस्था के कई कार्यक्रमों का प्रायोजन कई मीडिया घरानों ने किया। यहां तक कि इस संस्था ने फिल्म अभिनेता शक्ति कपूर सहित कई अभिनेताओं को भी अपने कार्यक्रम में बुलाया। जनता के खून पसीने की कमाई को प्रशासनिक सहयोग से डकारने वाली इस संस्था के कारनामों के बारे में तब किसी ने छानबीन क्यों नहीं की।
इस संस्था की संस्थापक मनोरमा देवी को प्रतिष्ठित ‘पद्मश्री’ पुरस्कार से नवाजे जाने की भी मांग चल रही थी इसी बीच 14 फरवरी को उनका निधन हो गया। सृजन में बीते कई वर्षों से चल रहे घोटाले से अनजान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी पिछले वर्ष संस्थापक सचिव मनोरमा देवी को सम्मानित किया था। सूत्रों के अनुसार घोटाले की आंच अब झारखंड और दिल्ली तक पहुंच सकती है। जांच अधिकारी अब इस टोह ले रहे हैं कि कहीं बिहार की तरह रांची में भी तो इस संस्था ने वहां के सरकारी विभागो की मिली भगत से घोटाला ता नहीं किया जिसकी पूर्ण संभावना है।