नई दिल्ली : संसद के आज से शुरू हो रहे शीतकालीन सत्र के हंगामेदार रहने की संभावना है, जहां विपक्ष गुजरात चुनाव के चलते सत्र में विलम्ब के साथ-साथ जीएसटी, नोटबंदी, राफेल और किसानों से जुड़े मुद्दों को लेकर विपक्ष सरकार को घेरेगा, वहीं गुजरात और हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनावों के परिणाम की छाया भी देखने को मिल सकती है।
सत्र के दौरान 25 विधेयक पेश किये जाने की उम्मीद है, जिसमें से 14 नये विधेयक होंगे। संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार और संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल पहले ही स्पष्ट कर चुके हैं कि संसद चर्चा का सर्वोच्च स्थान है और सरकार नियमों के तहत किसी भी मुद्दे पर चर्चा करने को तैयार है।
शीत सत्र की टेबर पर होंगे ये 14 नए बिल
1. गुड्स एवं सर्विस टैक्स (राज्यों को मुआवजा) संशोधन बिल, 2017
2. भारतीय वन संशोधन अध्यादेश, 2017 के स्थान पर भारतीय वन विधेयक (संशोधन) 2017
3. ऋण शोधन और दिवाला संहिता संशोधन अध्यादेश 2017
4. उपभोक्ता संरक्षण विधेयक 2017
5. अनियमित जमा योजनाओं पर प्रतिबंध और जमाकर्ता ब्याज बिल 2017 के हित की सुरक्षा विधेयक, 2017
6. The Negotiable Instruments (Amendment) Bill, 2017
7. दंत चिकित्सक (संशोधन) बिल, 2017
8. ग्रेच्युटी भुगतान (संशोधन) विधेयक, 2017
9. जन प्रतिनिधित्व संशोधन विधेयक, 2017
10. उच्च न्यायालय और उच्चतम न्यायालय न्यायाधीश (वेतन और सेवा की शर्तें) संशोधन बिल, 2017
11. विशिष्ट राहत (संशोधन) विधेयक, 2017
12. राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र कानून (विशेष प्रावधान) तीसरा संशोधन विधेयक, 2017
13. राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (संशोधन) विधेयक, 2017
14. मुस्लिम महिला (शादी से संबंधित अधिकारों का संरक्षण) विधेयक, 2017
सत्र के दौरान कांग्रेस समेत विपक्षी दल कई मुद्दों पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार को निशाने पर लेने का प्रयास कर सकते हैं। संभावना है कि इस सत्र में जीएसटी और नोटबंदी को लेकर कांग्रेस सरकार पर हमलावर होगी। कांग्रेस शुरुआत से ही जीएसटी एवं नोटबंदी को लागू करने के फैसले को जल्दबाजी में लिया गया कदम बताती आई है।