राची : भूमि अधिग्रहण बिल में संशोधन के खिलाफ सेंगेल अभियान और झारखंड दिशोम पार्टी की आहूत बन्द राजधानी में बेअसर दिखाई दे रहा है। मेन रोड की सभी दुकानें खुली है। आवागमन सामान्य है। पुलिस पूरी तरह मुस्तैद है। सुबह के समय शहरी क्षेत्रों ओ ग्रामीण क्षेत्रों में बंद समर्थकों ने सड़क जाम करने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने इन्हें हिरासत में ले लिया।
राची के फिरायालाल चौक पर निकले 25 बंद समर्थकों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। इसके अलावा काके, रातू, नामकुम सहित अन्य इलाकों में भी बंद समर्थक गिरफ्तार किए गए हैं। एसएसपी कुलदीप द्विवेदी ने कहा कि बंद से निबटने के लिए पुलिस ने पूरी तैयारी की है। बंद समर्थकों को किसी कीमत पर उपद्रव नही करने दिया जायगा।
नही मिला राजनीतिक दलों का समर्थन :
आदिवासी सेंगेल अभियान और झारखंड दिशोम पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व सासद सालखन मुर्मू ने भूमि अधिग्रहण संशोधन बिल के खिलाफ सोमवार (18 जून) को झारखंड बंद का एलान किया था। उन्होंने झारखंड मुक्ति मोर्चा, काग्रेस समेत तमाम विरोधी दलों से बंद को समर्थन देने की अपील की थी, लेकिन किसी ने उनके आग्रह का असर नही दिखा।
सालखन मुर्मू का कहना है कि झारखंड भूमि अधिग्रहण संशोधन बिल 2017 पर राष्ट्रपति की मुहर आदिवासियों और मूलवासियों के लिए डेथ वारंट है। ज्ञात हो कि झारखंड विधानसभा ने 12 अगस्त, 2017 को भूमि अर्जन-पुनर्वासन एवं पुनर्स्थापना में उचित प्रतिकार और पारदर्शिता का अधिकार, झारखंड संशोधन विधेयक-2017 पारित किया था। इसमें सोशल इम्पैक्ट के अध्ययन के प्रावधान को खत्म कर दिया गया।
इससे सरकारी स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय, अस्पताल, पंचायत भवन, आगनबाड़ी, रेल परियोजना, सिंचाई योजना, विद्युतीकरण, जलापूर्ति योजना, सड़क, पाइप लाइन, जलमार्ग और गरीबों के आवास बनाने के लिए जमीन का अधिग्रहण करने का रास्ता साफ हो गया। हालाकि, पिछले साल विधानसभा के मॉनसून सत्र में भू-अर्जन में सोशल इम्पैक्ट असेसमेंट खत्म करने पर विपक्ष की कड़ी आपत्ति के बावजूद भारी शोर-शराबे के बीच यह बिल ध्वनिमत से पारित हो गया था।