नई दिल्ली: नए केंद्रीय पर्यटन राज्यमंत्री केजे अल्फोंस ने विदेशी पर्यटकों को सलाह देते हुए कहा है कि यदि वह भारत आना चाहते हैं तो उससे पहले अपने देश में ही बीफ खाकर आएं। गुरुवार को भुवनेश्वर में इंडियन एसोसिएशन ऑफ टूर ऑपरेटर्स कन्वेंशन में हिस्सा लेने पहुंचे अल्फोंस से जब गोरक्षकों की हिंसा की हालिया घटनाओं और कई राज्यों में बीफ पर सख्त पाबंदी के बाद विदेशी सैलानियों के लिहाज से भारतीय पर्यटन पर असर पड़ने से संबंधित सवाल जब पत्रकारों ने पूछा तो अल्फोंस ने कहा,”वे अपने देश में बीफ खाकर यहां आ सकते हैं यार।”
इससे चंद रोज पहले चार सितंबर को नए मंत्री के रूप में पदभार ग्रहण करने के बाद अलफोंस कनन्नथानम ने कहा था कि केरल में बीफ का उपभोग जारी रहेगा। केरल कैडर के 1979 बैच के अधिकारी रहे अल्फोंस ने तब कहा था कि भाजपा ने यह कभी नहीं कहा कि गोमांस नहीं खाया जा सकता है। उन्होंने कहा, ”जैसे गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर पहले ही कह चुके हैं कि राज्य में गोमांस का उपभोग किया जा सकेगा। उसी तरह केरल में भी इसका उपभोग जारी रहेगा।” अल्फोंस ने कहा, ”भाजपा के पास यह कहने का अधिकार नहीं है कि गोमांस नहीं खाया जा सकता है। हम देश के किसी भी हिस्से में लोगों के खानपान की आदतें तय नहीं कर सकते है। यह फैसला करना लोगों का काम है कि उन्हें क्या खाना है।”
उन्होंने कहा कि भाजपा शासित गोवा जैसे राज्य में अगर गोमांस खाया जा सकता है तो केरल में भी इसके उपभोग पर कोई परेशानी नहीं होनी चाहिये। भाजपा को लेकर ईसाई समुदाय द्वारा उठायी गई चिंताओं को अल्फोंस ने दुष्प्रचार बताते हुये कहा कि साल 2014 में भी व्यापक पैमाने पर यह दुष्प्रचार फैलाया गया था कि मोदी सरकार बनने पर ईसाइयों को जलाया जायेगा और गिरजाघरों को ध्वस्त किया जायेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मोदी ने स्पष्ट किया कि लोग जिस बात पर चाहें उस पर यकीन करें लेकिन वह सभी का संरक्षण करेंगे। अलफोंस ने कहा कि प्रधानमंत्री ने सभी को एकजुट कर लोगों को एक साथ लाने की दिशा में बेहतरीन काम किया है। बाद में उन्होंने एक टीवी चैनल से कहा कि वह ईसाई समुदाय और भाजपा के बीच संपर्क सेतु का काम कर सकते हैं।