नयी दिल्ली, वार्ता | सरकार ने आज स्पष्ट किया कि इलेक्ट्रो हेम्योपैथी मान्यता प्राप्त चिकित्सा पद्धति नहीं है इसलिए इसे जुड़े चिकित्सक अपने नाम के साथ डाक्टर शब्द का इस्तेमाल नहीं करें और ना ही इस पद्धति से किसी की चिकित्सा की जानी चाहिए। लोकसभा में स्वास्थ्य राज्यमंत्री अनुप्रिया पटेल ने एक पूरक प्रश्न के जवाब में कहा कि इलेक्ट्रो हेम्योपैथी मान्यता प्राप्त और परंपरागत चिकित्सा पद्धति नहीं है। इसे मान्यता देने के बारे में एक समिति का गठन किया गया है और समिति की रिपोर्ट पर विचार करने के बाद ही इस बारे में निर्णय लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि चिकित्सा राज्यों का विषय है और उन्हें यह सुनिश्चित करना है कि इस पद्धति से तब तक किसी का उपचार नहीं किया जाए जब तक समिति इसकी मान्यता के बारे में अपनी सिफारिशें नहीं देती और सरकार इसको मान्यता नहीं देती है। उन्होंने कहा कि इसे मान्यता देने के लिए कई आधार है और उन पर विचार किया जा रहा है लेकिन अभी तक इसे मान्यता नहीं दी गयी है।
इलेक्ट्रो हेम्योपैथी को नहीं है मान्यता
